दुनियाँ सें मैं हारा,तो आया तेरे द्वार Duniya Se Mai Hara, To Aaya Tere Dwar
दुनियाँ सें मैं हारा,तो आया तेरे द्वार-२,
यहाँ सें गर मैं हारा,तो कहाँ जाऊँगा सरकार,ओ-२,
दुनियाँ सें मैं हारा,तो आया तेरे द्वार-२,
सुख में तेरे प्रभुवर,तेरी याद ना आई-२,
दुख में प्रभुवर,तुमसें प्रीत लगाई-२,
सारा दोष हैं मेरा,करता हूँ स्वीकार,
यहाँ सें गर मैं हारा,तो कहाँ जाऊँगा सरकार,ओ-२,
दुनियाँ सें मैं हारा,तो आया तेरे द्वार-२,
मेरा तो कया हैं मैं,तों पहले सें हारा-२,
तुमसें ही पूछेगा,ये संसार सारा-२,
डूब गई कयों नैय्या,तेरे रहते खैवनहार,
यहाँ सें गर मैं हारा,तो कहाँ जाऊँगा सरकार,ओ-२,
दुनियाँ सें मैं हारा,तो आया तेरे द्वार-२,
सब कुछ लुटा बस,लाज़ बचीं हैं-२,
तुमसें ही सतगुरु,मेरी आस लगी हैं-२,
सुना हैं तुम सुनतें हो,हम जैसों की पुकार,
यहाँ सें गर मैं हारा,तो कहाँ जाऊँगा सरकार,ओ-२,
दुनियाँ सें मैं हारा,तो आया तेरे द्वार-२,
जिसकों बताया मैंने,अपना फंसाना-२,
सबनें बताया हमकों,तेरा ठिकाना-२,
मैंने तुमकों माना हैं,मात-पिता-परिवार,
यहाँ सें गर मैं हारा,तो कहाँ जाऊँगा सरकार,ओ-२,
दुनियाँ सें मैं हारा,तो आया तेरे द्वार-२,
बोलो जयकारा
बोल मेरे श्री गुरुमहाराज जी की जय
तर्ज- सावन का महीना,पवन करें शोर,
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